बीएसएफ का आदिवासी युवा कार्यक्रम: युवाओं को नई दिशा और अवसर प्रदान

बीएसएफ का आदिवासी युवा कार्यक्रम: युवाओं को नई दिशा और अवसर प्रदान

11, 8, 2025

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दुर्ग-भिलाई क्षेत्र में हाल ही में बॉर्डर सिक्योरिटी फोर्स (BSF) द्वारा आयोजित आदिवासी युवा कार्यक्रम का आयोजन किया गया है, जिसका उद्देश्य आदिवासी युवाओं को आधुनिक भारत के विभिन्न पहलुओं से परिचित कराना और उन्हें सामाजिक एवं आर्थिक रूप से सशक्त बनाना है।


कार्यक्रम का उद्देश्य और महत्व

BSF द्वारा संचालित यह कार्यक्रम आदिवासी युवाओं के लिए एक अनूठा अवसर प्रदान करता है जिसमें उन्हें देश के अलग-अलग हिस्सों की सांस्कृतिक विविधता, तकनीकी प्रगति, रोजगार के अवसर, शिक्षा और कौशल विकास के बारे में जानकारी दी जाती है।

इस कार्यक्रम का एक बड़ा मकसद आदिवासी युवाओं को उनके समृद्ध सांस्कृतिक विरासत के प्रति जागरूक करना और इसे संरक्षित करने के लिए प्रेरित करना भी है। युवा अपनी क्षमताओं का विकास करते हैं और राष्ट्रीय एकता व विविधता की समझ बढ़ाते हैं।


कार्यक्रम की रूपरेखा

इस कार्यक्रम में 18 से 22 वर्ष की आयु के आदिवासी युवाओं को चुना जाता है, जो नक्सल प्रभावित क्षेत्रों के दूर-दराज इलाकों से आते हैं। चयनित युवाओं को भारत के विभिन्न शहरों का भ्रमण कराया जाता है, जहाँ वे उद्योग, तकनीकी उन्नति, शिक्षा संस्थान, सांस्कृतिक स्थल आदि का अनुभव करते हैं।

इसके अलावा, युवाओं को राष्ट्रपति, राज्यपाल, विभिन्न गणमान्य व्यक्तियों और विकास योजनाओं के विशेषज्ञों से मिलने का अवसर भी मिलता है। इसको माध्यम से वे देश के विकास और जनहित की समझ प्राप्त करते हुए सामाजिक जिम्मेदारियों के प्रति सजग होते हैं।


युवाओं पर प्रभाव

इस कार्यक्रम से लाभान्वित युवाओं ने बताया कि इससे उनके आत्मविश्वास में वृद्धि हुई है और वे अपने गांवों तथा समुदायों में सेवा करने के लिए प्रेरित हुए हैं। वे कहते हैं कि इस अनुभव से उन्हें देश की ताकत और संस्कृति को समझने का मौका मिला है, जो उनके जीवन में सकारात्मक परिवर्तन लाएगा।


प्रशासन और BSF की भूमिका

BSF ने 2009 से नक्सल प्रभावित आदिवासी इलाकों में सुरक्षा के आलावा शिक्षा, स्वास्थ्य और सामाजिक विकास के क्षेत्र में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। इस कार्यक्रम के जरिये वे युवाओं को मुख्यधारा में लाने का प्रयास कर रहे हैं, ताकि वे बेहतर जीवन और विकास की ओर अग्रसर हो सकें।

प्रशासन भी ऐसे कार्यक्रमों को बढ़ावा दे रहा है ताकि युवाओं में नई सोच और करियर के प्रति जागरूकता बढ़े।


निष्कर्ष

बीएसएफ का आदिवासी युवा कार्यक्रम न केवल युवाओं के व्यक्तिगत विकास में सहायक है, बल्कि यह सामाजिक समरसता और देश के विकास के लिए भी एक महत्वपूर्ण कदम है। ऐसे प्रयास आदिवासी क्षेत्रों में शिक्षा, रोजगार और सांस्कृतिक सुरक्षा के साथ-साथ नक्सलवाद से लड़ने में भी सहायक साबित हो रहे हैं।

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